Home मुंबई-अन्य महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल के ई-फाइलिंग और सुविधा केंद्रों का उद्घाटन

महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल के ई-फाइलिंग और सुविधा केंद्रों का उद्घाटन

by zadmin

महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल के ई-फाइलिंग और सुविधा केंद्रों का उद्घाटन
मुंबई(निर्भय पथिक):, आधुनिक तकनीक से ई-फाइलिंग सुविधा तैयार करने का बार काउंसिल का कार्य सराहनीय है।  ई-फाइलिंग सुविधा अदालतों में लंबित मामलों को निपटाने और आम आदमी को न्याय दिलाने में भी उपयोगी होगी। यह विचार मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने व्यक्त किये.उन्होंने   यह उम्मीद भी जताई कि केंद्र सरकार राज्य में अदालतों का काम मराठी में करने के बारे में  सोचेगी । . मुख्यमंत्री दादर स्थित स्वामी नारायण मंदिर सभागृह  में मुंबई महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल के ई-फाइलिंग और सुविधा केंद्रों के वितरण कार्यक्रम में बोल रहे थे।  केंद्रीय कानून और न्याय मंत्री किरेन रिजिजू, केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग मंत्री नारायण राणे, राज्य के  पर्यटन मंत्री मंगल प्रभात लोढ़ा, शालेय शिक्षा मंत्री दीपक केसरकर, सांसद राहुल शेवाले के साथ राज्य के महाधिवक्ता, राष्ट्रीय बार काउंसिल के अध्यक्ष, महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल के अध्यक्ष आदि मौजूद थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि, देश में डिजिटल सिस्टम उभर रहा है। ये सुविधाएं न्याय व्यवस्था को गति दे रही हैं।  देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में कई विकास कार्य किए जाने की बात कहते हुए राज्य सरकार वकीलों के लिए नए प्रशिक्षण केंद्र के लिए जगह उपलब्ध कराने के अलावा अन्य मांगों में भी सहयोग करेगी। साथ ही केंद्र सरकार राज्य में अदालतों का काम मराठी में करने के बारे में विचार करे यह  भी मुख्यमंत्री शिंदे ने कहा। 
   इस अवसर पर बोलते हुए केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने देश में न्यायपालिका के आधुनिकीकरण के लिए बजट में सात हजार करोड़ रुपये आवंटित किए हैं। केंद्र सरकार की मंशा देश की न्यायपालिका में भारतीय भाषाओं के प्रयोग को बढ़ाने की है। केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया कि केंद्र सरकार आधुनिक तकनीक के जरिए अदालतों में भारतीय भाषाओं के इस्तेमाल को बढ़ाने की दिशा में कदम उठा रही है। केंद्रीय मंत्री श्री. रिजिजू ने कहा, लंबित मामलों को निपटाने के लिए तकनीकी पहलों को लागू करना महत्वपूर्ण है।  केंद्र सरकार ने 2014 के बाद क्रांतिकारी फैसले लिए और  अब तक 400 से ज्यादा पुराने कानूनों को हटाया जा चुका है । केंद्र सरकार सुप्रीम और हाई कोर्ट, लॉ कॉलेज और बार काउंसिल में महिलाओं की संख्या बढ़ाने के लिए काम करेगी। भयमुक्त वातावरण में वकीलों द्वारा काम किया जाए इसके लिए सुरक्षा कानून करने के लिए केंद्र सरकार की ओर से कदम उठाया जाएगा, ऐसा भी केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री श्री. रिजिजू ने स्पष्ट किया। 
इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने कहा, मुंबई में नए वकीलों के लिए प्रशिक्षण केंद्र के लिए उपयोगी होगी।  वकील संरक्षण अधिनियम के लिए भी पैरवी करेंगे।  डिजिटल सुविधा से न्यायालयों में लंबित विभिन्न प्रकरणों का शीघ्र निस्तारण होगा। 
उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा, डिजिटल सुविधा के कारण देश भर में न्याय व्यवस्था पूरे कोविड काल में चलती रही। तकनीक के इस्तेमाल से पारदर्शिता आती है। लोगों को न्याय व्यवस्था पर भरोसा है। धीरे-धीरे पूरी न्याय व्यवस्था डिजिटल हो जाएगी. जिससे नागरिकों को त्वरित न्याय मिल सके।  अधिवक्ता संरक्षण अधिनियम पर सकारात्मक विचार कर बैठक कर इस संबंध में समाधान निकाला जायेगा।  
इस अवसर पर गणमान्य व्यक्तियों द्वारा जिले के बार काउंसिल के पदाधिकारियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किया गया। 

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