हस्तरेखा में संतान रेखा विवाह रेखा के ऊपर मौजूद रहती है। संतान रेखाएं लंबवत रेखाएं हैं जो अमूमन विवाह रेखा से बाहर निकलती हैं। संतान रेखाओं से केवल जैविक बच्चे का ही नहीं बल्कि गोद लिए बच्चे के बारे में भी संकेत मिलता है। किसी बच्चे के साथ विशेष संबंधों को भी संतान रेखा दर्शाती है। माना जाता है कि संतान रेखाओं की संख्या उन बच्चों को प्रदर्शित करती है जो आपके पास हैं या हो सकते हें। गहरी संतान रेखा पुत्र का संकेत देती है जबकि हल्की रेखा पुत्री का संकेत देती हैं। यदि संतान रेखा बहुत छोटी और बाधित हों तो यह गर्भपात का इशारा करती हैं। यदि पुरुष की हथेली में संतान रेखा अधिक हैं तो बच्चों के स्वास्थ्य होने की संभावना है, लेकिन स्थिति विपरीत है तो संतान कमजोर हो सकती है। संतान रेखाओं की संख्या, पंक्ति का अपना महत्व है। इससे सटीक भविष्यवाणी को पुख्ता करता है.
-यदि संतान रेखा अंत में रेशेदार है तो जुड़वा बच्चों का संकेत है।
-गहरी और गहरे रंग की संतान रेखा पुत्र प्राप्ति का संकेत हैं।
-यदि संतान रेखा संकीर्ण और उथली है तो एक पुत्री के जन्म का योग है।
-यदि संतान रेखा के शुरुआत में पर्वत है तो कमजोर संतान की संभावना रहती है। अक्सर ऐसे बच्चे बीमार रहते हैं।
-यदि संतान रेखा घुमावदार या असमान हैं तो यह अच्छे स्वास्थ्य का संकेत नहीं है।